मारवाड़ी लोकोक्तियाँ-मुहावरे-कहावतें
Friday, April 29, 2011
सारी रात पीसीयो , ढकणि में ओसारियो !
सारी रात पीसीयो , ढकणि में ओसारियो !
शब्दार्थ :- पूरी रात पिसाई की (आटा बनाया) इतनी ही पिसाई हुई जिसे ढक्कन में संधा जा सके।
अर्थ :- बहुत ज्यादा मेहनत की , परन्तु प्रतिफल बहुत ही नगण्य मिला,क्योकि मेहनत की दिशा ठीक नहीं थी। .
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